प्रेगनेंसी में ड्रमस्टिक या सहजन खाने के फायदे

गर्भावस्था में हर महिला को सेहतमंद भोजन का सेवन करना चाहिए। जिससे की गर्भवती महिला और शिशु को सभी जरुरी पोषक तत्व मिल सके। आजकल जब के हमारे आसपास के वातावरण में खतरनाक बीमारिया फैली हुई है और प्रदूषण से कई तरह की परेशानिया हो सकती है। तो गर्भवती महिला के लिए और भी जरुरी है जाता है के वह ऐसा भोजन ले जो के सिर्फ उसके शिशु का ही विकास ना करे बल्कि भोजन ऐसा होना चाहिए जो विकास के साथ साथ बिमारियों से भी दूर रखता हो। 

ड्रमस्टिक यानी के सहजन के बारे में तो आपने सुना ही होगा, यह एक ऐसी सब्जी है जिसे सिर्फ इसके नुट्रिएंट्स के लिए ही इस्तेमाल नहीं किया जाता है बल्कि इसे पानी को शुध्द करने और हर्बल दवाइया बनाने में और बहुत सी बीमारियों से दूर रखने के भी काम आता है।

सहजन में बहुत से विटामिन्स, मिनरल्स और जरुरी पोषक तत्व पाए जाते है। गर्भवस्था में सहजन का सेवन महिला और शिशु दोनों के विकास के लिए ही बहुत जरुरी है। आइये जानते है सहजन को खाने के क्या क्या फायदे है और इसमें क्या नुट्रिएंट्स वैल्यू भी है। 

उलटी और जी मचलना या घबराना 

गर्भावस्था में सहजन के सेवन से सुबह के समय होने वाली उलटी, घबराहट आदि में राहत मिलती है। सहजन का नियमित सेवन गर्भवती महिला को मॉर्निंग सिकनेस से भी दूर रखता है और साथ ही एक्टिव और फ्रेश रहने में भी मदद करता है।

ब्लड शुगर

सहजन ब्लड शुगर को नियंत्रित रखने के भी बहुत काम आती है। डायबिटिक के मरीज को ड्रमस्टिक के सेवन की सलाह दी जाती है। अगर गर्भवती महिला ड्रमस्टिक का रोजाना सेवन करती है तो गर्भावस्था में होने वाली ब्लड शुगर का खतरा कम हो जाता है।

एनीमिया 

गर्भावस्था में अक्सर महिलाओं को ब्लड की कमी हो जाती है। ब्लड की कमी ज्यादातर आयरन की कमी के कारण होती है। सहजन में आयरन भरपूर मात्रा में होता है। यदि गर्भवती महिला सहजन का नियमित सेवन करती है तो आयरन की कमी पूरी होकर एनिमिक प्रॉब्लम खत्म हो जाती है।

इन्फेक्शन 

ड्रमस्टिक एंटी माइक्रोबियल के गुणों से भरपूर होता है। यह हमे थ्रोट इन्फेक्शन से भी बचाता है। आजकल के मौसम में गर्भवती महिलाओं को गले का इन्फेक्शन बहुत आसानी से हो सकता है। इसीलिए रोजाना सहजन का सेवन करे जिससे इन्फेक्शन से बचे रहेंगे।

सहजन में मौजूद औषधीय गुण हमे पेट में होने वाले इन्फेक्शन से भी बचाते है। गर्भावस्था में पाचन शक्ति कमजोर होने के कारण पेट संबंधित बहुत से परेशानिया होने लगती है। पर सहजन का सेवन इन सभी बिमारियों से हमे बचता है।

रेस्पिरेटरी पॉरब्लम्स

साँस से संबंधित परेशानिया जैसे की साँस फूलना, अस्थमा आदि या फिर चेस्ट इन्फेक्शन। सहजन का नियमित सेवन हमे सभी रेस्पिरेटरी प्रोब्लेम्स से भी बचाता है। ड्रमस्टिक को आप सब्जी या सूप दोनों में इसका सेवन कर सकते है।

डिलीवरी 

सहजन का नियमित सेवन डिलीवरी के समय का दर्द को कम करता है। इसके अतिरिक्त डिलीवरी में और डिलीवरी के बाद होने वाले कम्प्लीकेशन के खतरे को भी कम करता है।  

हड्डियां 

सहजन में मौजूद कैल्शियम, आयरन और मिनरल्स गर्भवती महिला और उसके भूर्ण की हड्डियों का विकास कर उन्हें मजबूत बनाते है। इसके सेवन से शिशु की हड्डियों को भरपूर मात्रा में कैल्शियम मिलता है।  

इम्युनिटी 

सहजन की पत्तियों को विटामिन ए का बहुत अच्छा स्रोत माना जाता है। सहजन की सिर्फ 100 ग्राम पत्तियों में रोजाना लिए जाने वाले पोषक तत्वों की तुलना में 200 प्रतिशत से भी ज्यादा नुट्रिएंट्स मिलते है। विटामिन ए एक ऐसा एंटीऑक्सीडेंट तत्व होता है जो हमारे सेल्स को डैमेज से बचाता है, हमारे आँखों की दृष्टि को बढ़ाता है, त्वचा को अच्छा करने के साथ साथ इम्युनिटी पावर को भी बढ़ाता है।  

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